Ews सर्टिफिकेट निरस्त कर दोबारा जारी करने में फंसे लेखपाल व नायब

प्रयागराज। आर्थिक रूप से कमजोर (इकोनामिकली वीकर सेक्शन) अर्थात ईडब्ल्यूएस का प्रमाण पत्र बनाने में इन दिनों जमकर खेल हो रहा है।

ताजा प्रकरण सीएमपी डिग्री कालेज के असिस्टेंट प्रोफेसर शशांक शेखर राय की शिकायत के बाद करेली की एक मुस्लिम महिला का पकड़ में आया है। महिला का ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र (EWS Certificate) जिस लेखपाल और नायब तहसीलदार ने बनाया था, उन्होंने ही कुछ माह बाद खारिज कर दिया। यही नहीं इसके बाद दोबारा वही नायब तहसीलदार व लेखपाल ने महिला का ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र बहाल कर दिया।

इस मामले में शिकायत पर मंडलायुक्त विजय विश्वास पंत ने डीएम रविंद्र कुमार मांदड़ को मजिस्ट्रेट से जांच कराने के निर्देश दिए हैं। डीएम ने एसडीएम सदर को जांच सौंपी है। आरोप है कि करेली के हल्का लेखपाल सुशील कुमार शुक्ला और नायब तहसीलदार अरविंद केशरवानी ने करेली की जिस अल्पसंख्यक महिला का ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र 2022 में जारी किया था, उसे बाद में निरस्त कर दिया।

निरस्त करने का आधार यह बताया गया कि महिला के शहर में करोड़ों रुपये के कई प्लाट हैं। वह समृद्धशाली हैं और ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र की पात्र नहीं हैं। इसके बाद अक्टूबर 2024 में लेखपाल सुशील और नायब तहसीलदार अरविंद ने निरस्त किए गए ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र को बहाल कर दिया। एसडीएम को सौंपी गई जांच में कई अन्य बिंदुओं को भी शामिल करने को कहा गया है।

मसलन, लेखपाल सुशील व नायब तहसीलदार अरविंद द्वारा जारी सभी ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्रों की छानबीन की जाए। सभी प्रमाण पत्रों की अलग-अलग रिपोर्ट बनाई जाए। इसके साथ ही डीएम की ओर से सभी तहसीलों से जारी वर्ष 2024 व 2025 में अब तक के प्रमाण पत्रों की जांच के निर्देश हो गए हैं।

तहसीलदार की रिपोर्ट को खारिज नहीं कर सकते दूसरे तहसीलदार

इस प्रकरण में एक और तकनीकी पेच फंस गया है। जिला प्रशासन के उच्चाधिकारियों का कहना है कि करेली की जिस महिला का ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र लेखपाल व नायब तहसीलदार ने निरस्त किया, उस पर तत्कालीन तहसीलदार आरपी सिंह ने भी मुहर लगाई थी। तहसीलदार आरपी सिंह के आदेश को नए तहसीलदार अनिल कुमार पाठक ने बदल दिया, जबकि नए तहसीलदार को यह अधिकार ही नहीं है। तहसीलदार के आदेश को ऊपर के अधिकारी जैसे एसडीएम अथवा एडीएम या फिर डीएम ही बदल सकते हैं। ऐसे में नएतहसीलदार की भी भूमिका संदिग्ध हो गई है।

ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र जारी करने औरफिर निरस्त करने तथा पुनः बहाल कर देने का मामला बेहद गंभीर है। इस प्रकरण में जांच के निर्देश दिए गए हैं। रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्यवाही की जाएगी।

विजय विश्वास पंत, मंडलायुक्त

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